Varanasi News: होली पर रिकार्ड तोड़ इतने करोड़ की दारू पी गए बनारसी पियक्कड़

वाराणसी। आबकारी विभाग के अनुसार पिछले वर्ष की तुलना में इस बार राजस्व में लगभग पचास लाख रुपये की बढ़ोतरी हुई है। होली कब मनाई जाए, इसे लेकर इस बार वाराणसी में असमंजस की स्थिति थी। इसके मद्देनजर इस बार जिले में शराब और बीयर की दुकानें सात और आठ मार्च को अलग-अलग जोन के आधार पर खोली और बंद कराई गई थी।
इस बार बनारस में दो दिन तक मनाई गई होली के दौरान तीन करोड़ रूपये की शराब बनारसी पी गये। वहीं बलिया भी बनारस के बराबर रहा और वहां के लोग भी तीन करोड़ की शराब गटक गए।
मऊवाले बनारसी और बलियावालों से भी आगे निकले और वह पांच करोड़ की दारू गटक गए। इसके अलावा इन सभी जिलों का रिकार्ड गोरखपुर ने तोड़ा और यहां के लोग 13 करोड़ की शराब पी गए। यहां भी देसी शराब की बिक्री ज्यादा हुई।
जिला आबकारी अधिकारी ओमवीर सिंह ने बताया कि दो दिनों में तीन करोड़ रूपये की बिक्री हुई है। वैसे होली से एक दिन पहले एक करोड़ की शराब बिकती रही। उस हिसाब से इस बार दो दिन की होली में एक करोड़ रूपये अधिक की बिक्री हुई।
गौरतलब है कि जिला प्रशासन को शराब की दुकानों की बंदी के लिए तीन बार आदेश जारी करना पड़ा। पहले आठ मार्च को बंदी का आदेश आया। फिर सात मार्च को चौबेपुर और चालापुर थाना क्षेत्रों को छोड़कर बाकी सब जगह बंदी का आदेश जारी हुआ।
फिर प्रशासन को पता चला कि कुछ लोगों ने ही सात मार्च को हाली मनाई तो डीएम ने आठ मार्च की बंदी का नया आदेश जारी किया। इस आदेश के तहत आदमपुर, जैतपुरा, चौक, दशाश्वमेध व कोतवाली थाना क्षेत्रों में सात मार्च को बंदी रही और आठ मार्च को दुकानें खुली रही। जबकि आठ को उक्त पांच थाना क्षेत्रों को छोड़कर बाकी दुकानें बंद रहीं।
चोलापुर और चौबेपुर थाना क्षेत्रों में उस दिन बंदी तो थी हीं। इस बीच बनारस के सुराप्रेमी तीन करोड़ रूपये की दारू गटक गये। इतनी बड़ी रकम की दारू गटकने के लिए बनारसियों के अलावा आसपास के जनपदों, प्रदेशों से काशी आनेवाले पर्यटक और बिहार के सासाराम, मोहनिया, बक्सर के लोग भी शामिल है।
वहीं आपको बता दें की बनारस में देसी शराब की 381, अंग्रेजी 185, बीयर 164, माडल शाप 17 और भांग की 94 दुकानें हैं।