×

आईजीएल के बिजनेस हेड एस के शुक्ल की सुपुत्री ऋद्धि शुक्ला भारतीय वायुसेना में बतौर फलाइंग आफिसर हुई शामिल

आईजीएल के बिजनेस हेड एस के शुक्ल की सुपुत्री ऋद्धि शुक्ला भारतीय वायुसेना में बतौर फलाइंग आफिसर हुई शामिल

सहजनवा गोरखपुर। पुरे जनपद के लिए गौरव की विषय है की आईजीएल के बिजनेस हेड एस के शुक्ल की सुपुत्री ऋद्धि शुक्ला ने अपनी कठिन तपस्या और मेहनत से भारतीय वायु सेना में फ्लाईंग ऑफिसर का पद प्राप्त कर के अपने क्षेत्र को गौरवान्वित किया है।

ऋद्धि शुक्ला ने बीते वर्ष एनडीए की परीक्षा उत्तीर्ण किया था और अच्छा रैंक होने के कारण इन्हे भारतीय वायुसेना में शामिल होने का गौरव मिला।  आजादी के बाद से देवरिया जनपद से  पहली बार कोई  महिला फलाइंग ऑफिसर बनकर क्षेत्र का नाम रोशन किया है।  

इस सफलता के पीछे एस के शुक्ल का पुण्य प्रताप और परिवार के सदस्यों के सहयोग तथा ऋद्धि शुक्ला का कठिन परिश्रम रहा है .आज भारत के सभी युवा भारतीय सेना में शामिल होने का सपना सजोते है लेकिन साकर उन्ही के सपने होते  जो कठिन परिश्रम करते है , ऋद्धि शुक्ला के दादा स्वर्गीय कमला कान्त शुक्ल विश्विद्यालय में प्रोफेसर एवं प्रशिद्ध ज्योतिषाचार्य  थे , उनको उनके कार्यो हेतु भारत के राष्ट्रपति,एवं प्रदेश के राज्यपाल द्वारा अनेको बार सम्मानित किया गया था. इसके साथ ही  विश्विद्यालय द्वार इन्हे संस्कृति में चुंडामणि की उपाधि से भी नवाजा गया था।  

आईजीएल के बिजनेस हेड एस के शुक्ल की सुपुत्री ऋद्धि शुक्ला भारतीय वायुसेना में बतौर फलाइंग आफिसर हुई शामिल

इसके साथ ही फलाइंग अधिकारी  ऋद्धि शुक्ला एक भाई और तीन बहने है। बड़ी बहन एक मल्टीनेशनल कंपनी में अच्छे पद पर बंगलौर में कार्यरत है, और  भाई दिल्ली आईआईटी से बीटेक करके एक कंपनी में उच्च पद पर आसीन है और सबसे छोटी बहन सिद्धि शुक्ला लखनऊ स्थित केजीएमसी से बीडीएस की पढाई कर रही है।  

इस ऐतिहासिक सफलता से पुरे  आईजीएल परिवार में हर्षोउल्लास का मौहाल है और सब एक दूसरे को मिठाई खिलाकर जश्न मना रहे है। भारतीय वायुसेना की फ्लाइंग ऑफिसर ऋद्धि शुक्ला  ने बताया कि आज जो मुकाम उसने हासिल किया है, उसका सारा श्रेय परिवार (माता ,पिता , भाई , बहनो ) को जाता है जिन्होंने मुझे  इस मुकाम को हासिल करने के लिए प्रेरित किया और हमेशा उत्साहवर्धन किया तथा मैंने अपनी पिता एस के शुक्ल से कड़ी  मेहनत की प्रेरणा लिया और पूरा प्रयास किया की अपने सपनो को साकार आकर सकू।  उपरोक्त  जानकारी डॉ सुनील कुमार मिश्र ने दिया है।

Share this story