×

भाजपा में शामिल होने जा रहे भारतीय क्रिकेट टीम के पूर्व कप्तान? केंद्रीय गृहमंत्री से मिलाया हाथ, लगाए जा रहे कयास...

भाजपा में शामिल होने जा रहे भारतीय क्रिकेट टीम के पूर्व कप्तान? केंद्रीय गृहमंत्री से मिलाया हाथ, लगाए जा रहे कयास...

भारतीय क्रिकेट टीम के टीम के पूर्व दिग्गज कप्तान महेंद्र सिंह धोनी की आज भी जबरदस्त फैन फॉलोइंग है। वह जहां भी जाते हैं उनकी एक झलक पाने के लिए फैंस का हुजूम उमड़ पड़ता है। ऐसा ही कुछ इंडिया सीमेंट्स के स्थापना के 75 वें सालगिरह के मौके पर देखने को मिला लेकिन इस बार धोनी की चर्चा किसी और वजह से हो रही है।

दरअसल इंडिया सीमेंट्स के इस कार्यक्रम में देश के गृह मंत्री और भारतीय जनता पार्टी के चाणक्य कहे जाने वाले अमित शाह  भी यहां पहुँचे थे।



धोनी भी इस कार्यक्रम में शामिल हुए थे। वहीं अमित शाह यहां पहुंचने के बाद भारत के पूर्व कप्तान से गर्मजोशी के साथ मिले। इस दौरान दोनों का हाथ मिलाते हुए एक तस्वीर सोशल मीडिया पर वायरल हो रही और फैंस इस पर कमेंट कर अपना रिएक्शन दे रहे हैं।

सोशल मीडिया पर कई यूजर लिख रहे हैं कि धोनी कब बीजेपी ज्वाइन करेंगे तो कुछ उनसे पूछ रहे हैं कि अगला प्लान क्या है। बता दें कि यह पहली बार नहीं है जब धोनी को लेकर चर्चा हुई है कि वह राजनीति में शामिल होने वाले हैं। झारखंड विधानसभा के दौरान भी उनको लेकर खूब सुर्खियां बनी थी। हालांकि उन्होंने किसी भी पार्टी के साथ जुड़ने से साफ इनकार किया था।
 

https://pagead2.googlesyndication.com/pagead/js/adsbygoogle.js?client=ca-pub-2953008738960898" crossorigin="anonymous">


सीएसके के मालिक एन श्रीनिवासन का है इंडिया सीमेंट्स

इंडियन प्रीमियर लीग में चेन्नई सुपर किंग्स के ओनर एन श्रीनिवासन का इंडिया सीमेंट्स पर स्वामित्व है। माना जाता है कि धोनी भी कंपनी के स्टेक होल्डर हैं। वहीं चेन्नई में श्रीनिवासन ने ही कंपनी के 75वीं वर्षगांठ पर एक कार्यक्रम का आयोजन किया था। इसमें तमिलनाडु के राज्यपाल आरएन रवि भी शामिल हुए। इस कार्यक्रम में गृहमंत्री के अलावा राज्य के कई बड़े बीजेपी के नेता भी शामिल हुए थे।



आईपीएल 2023 में धोनी संभालेंगे सीएसके की कमान

इंडियन प्रीमियर लीग 2023 में धोनी शायद आखिरी बार सीएसके के लिए मैदान पर उतरे। आईपीएल 2022 के शुरुआत में उन्होंने रविंद्र जडेजा को टीम की कप्तानी सौंप दी थी लेकिन सीजन के बीच में जडेजा चोटिल होकर टूर्नामेंट से बाहर हो गए थे। ऐसे में धोनी को फिर से टीम की कमान संभालनी पड़ी थी।

भारतीय टीम के पूर्व कप्तान महेंद्र सिंह धोनी का जन्म 7 जुलाई 1981 को रांची, बिहार में हुआ था (अब झारखंड) में हुआ था। धोनी एक दाहिने हाथ के बल्लेबाज हैं जिन्हें लोग मैच फिनिशर के रूप में भी जानते हैं। भारतीय क्रिकेट के इतिहास में धोनी की गिनती सर्वश्रेष्ठ कप्तान के रूप में होती है। धोनी एक ऐसे कप्तान हैं जिनकी कप्तानी में भारत ने आईसीसी की हर एक अहम ट्रॅाफी का खिताब अपने नाम किया है।

महेंद्र सिंह धोनी का जीवन परिचय:

महेंद्र सिंह धोनी का जन्म रांची में हुआ था। धोनी को स्कूल के दिनों से क्रिकेट का पागलपान था। ऐसा भी कहा जाता है की जब माही खेलने के लिए निकलते थे, मैदान में हजारों दर्शकों का हुजुम इकट्ठा हो जाता था।

बचपन से दमदार क्रिकेट खेलने वाले धोनी की जिंदगी में बदलाव तब आया, जब उन्होंने 1999-2000 कूच बिहार ट्रॅाफी के दौरान 84 रनों की धुआंधार पारी खेली थी। जिसकी बदौलत बिहार ने पंजाब के सामने 357 रनों का लक्ष्य रखा था।

लेकिन विरोधी टीम के युवराज सिंह ने अकले 358 रन अपने खाते में जोड़ डाले। जिसके बदौलत पंजाब ने इस मैच में 839 ठोक डाले और इसी वजह से धोनी की जगह युवराज सिंह को अंडर-19 विश्व कप में जगह दे दी गई। यही से छोटे शहर के इस लड़के ने भारतीय क्रिकेट के लिए नया इतिहास लिखना शुरू कर दिया। लेकिन धोनी इतने में कहा मानने वाले थे। भारतीय टीम में खेलने के लगन ने उन्हें खड़गपुर स्टेशन में रेलवे कलेक्टर की नौकरी दिला दी।

बीसीसीआई ने उन दिनों एक प्रोग्राम शुरू किया था, जिसका नाम था ट्रेनिंग रिचर्च डेवलपमेंट विंग और उसकी बदौलत धोनी को 2004 में इंडिया-ए के लिए केन्या के खिलाफ मौका मिला।

भारत के लिए खेलने का मौका:

महेंद्र सिंह धोनी को 2004 में बांग्लादेश के खिलाफ पहली बार खेलने का मौका मिला, लेकिन सीरीज के पहले मुकाबले में धोनी को शून्य पर ही पवैलियन लौटना पड़ा। माही के लिए अंतराष्ट्रीय करियर की शुरूआत कुछ खास नहीं रही। पूरे श्रृंखला में धोनी ने 0,12,7 और 3 रन बनाए, लेकिन उस समय के भारतीय टीम के कप्तान सौरव गांगुली लगातार उनपर भरोसा जताते रहे। जिसका नतीजा था कि धोनी आज इतने बड़े खिलाड़ी बनकर उभरे हैं।

2005 में चेन्नई के मैदान में धोनी को भारत के लिए श्रीलंका के खिलाफ टेस्ट क्रिकेट में डेब्यू करना का मौका मिला। जहां पर धोनी ने पहली इनिंग्स में 30 रन अपने खाते में जोड़े। लेकिन उन्हें दूसरी पारी में बैटिंग करने का मौका नहीं मिला।

इसी सीरीज का दूसरा टेस्ट दिल्ली में खेला गया था। जहां पर धोनी के बल्ले से 51 रनों की नाबाद पारी देखने को मिली। जिसकी बदौलत भारत ने इस मुकाबले में जीत दर्ज किया। धोनी ने टी-20 क्रिकेट में 2006 में साउथ अफ्रीका के खिलाफ डेब्यू किया था। लेकिन धोनी अपने करियर के पहले टी--20 में 0 पर आउच हो गए।
 

बादशाहत की शुरूआत:

अंतराष्ट्रीय क्रिकेट में अच्छी शुरूआत ना होने के वजह से गांगुली ने पाकिस्तान के खिलाफ धोनी को तीसरे स्थान पर बल्लेबाजी करने को भेजा और जिसका ही नतीजा था, धोनी ने इस मैच में 123 गेंदों का सामना करते हुए 148 रनों की अहम पारी खेल डाली।

कुछ ऐसा ही श्रीलंका के खिलाफ देखने को मिला जहां धोनी ने 143 गेंदों का सामना करते हुए 183 रन जड़ डाले और इनके शतकीय पारी की बदौलत भारत ने श्रीलंका को इस वनडे में रौद दिया था।

अब धोनी को जिस मुकाबले में खेलना का मौका मिलता वो वहां पर जलवा बिखरते लेकिन 2007 विश्वकप में धोनी का बल्ला खामोश ही दिखा जो भारत के पहले राउंड में बाहर होने का कारण भी बना।


 

2007 टी-20 विश्वकप में जहां दिग्गज क्रिकेटर ने इस फॅार्मेट में खेलने से मना कर दिया था, वहां पर धोनी की कप्तानी में टीम ने ना सिर्फ विश्वकप जीता बल्कि विश्व क्रिकेट में बादशाहत भी बटोरी। भारत में आयोजित 2011 विश्व कप में धोनी की कप्तानी में टीम ने 28 साल बाद 50-50 क्रिकेट में एक बार फिर विश्वकप अपने नाम किया।

बुरे दौर की शुरूआत:

महेंद्र सिंह धोनी बेहतरीन फिनिशर के रूप में जाने जाते थे लेकिन आज-कल उनके बल्ले से ना रन निकलना बंद हो चुके हैं। खराब प्रदर्शन के वजह से उन्होंने 2015 में टेस्ट क्रिकेट को अलविदा कह दिया था। फिर उन्होंने 2017 में वनडे क्रिकेट से कप्तान के पद का त्याग कर दिया था। हालात तो इतने खराब हो चुके हैं की धोनी को टी-20 फॅार्मेट से भी बाहर का रास्ता दिखा दिया गया। धोनी को अब आप ज्यादातर एकदिवसीय क्रिकेट खेलते हुए देखेंगे।

क्लब के लिए खेलते हुए धोनी का प्रदर्शन:

आईपीएल में महेंद्र सिंह धोनी चेन्नई सुपरकिंग्स के लिए खेलते हैं। जिस टीम को वो कई बार खिताब जिता चुके हैं। बेटिंग और स्पॉट-फिक्सिंग के आरोप में फंसी चेन्नई की टीम ने 2 साल बाद 2018 में वापसी की और उसी साल धोनी ने सीएसके को चैंपियन बना दिया।

धोनी के नाम कुछ खास रिकॅार्ड:

1) 2016 में धोनी ने सबसे ज्यादा वनडे मैंचों में कप्तानी का रिकॉर्ड बनाया था । इससे पहले ये रिकॅार्ड ऑस्ट्रेलियाई टीम के पूर्व कप्तान रिकी पोंटिग के नाम था । धोनी ने 331 मैच में कप्तानी की है।

2) वनडे क्रिकेट में धोनी ऐसे पहले विकेटकीपर हैं जो 400 बार गिल्लियां उड़ा चुके हैं । जब उन्होंने 201 में एडम मार्करम आउट किया था।

3) धोनी एकमात्र विकेटकीपर हैं जिन्होंने टेस्ट क्रिकेट में 4000 रन बनाए हैं।

4) वनडे क्रिकेट में धोनी ऐसे विकेटकीपर हैं जिनके नाम 100 स्टंपिंग है।

जीवनी फिल्म: M.S. Dhoni: The Untold Story (2016)

पुरस्कार: राजीव गाँधी खेल रत्न (2007), पद्मा श्री (2009), पद्मा भूषण (2018)

Share this story