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सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय सोशल मीडिया कंपनियों का त्रैमासिक अनुपालन ऑडिट करेगा

Information Technology Ministry to conduct quarterly compliance audit of social media companies

Information Technology Ministry to conduct quarterly compliance audit of social media companies


नयी दिल्ली। लेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय (एमईआईटी) अब हर तीन महीने में सोशल मीडिया कंपनियों का अनुपालन ऑडिट करेगा। एक आधिकारिक सूत्र ने बृहस्पतिवार को यह जानकारी दी।



मौजूदा व्यवस्था के तहत सोशल मीडिया मंचों को हर महीने आईटी नियम, 2021 के अनुपालन का खुलासा करना आवश्यक होता है,

जहां वे विभिन्न शिकायतों के जवाब में उनके द्वारा की गई कार्रवाई की जानकारी देते हैं।



एक सूत्र ने 'पीटीआई-भाषा' को बताया कि मंत्रालय ने सोशल मीडिया मध्यस्थों का अब हर तीन महीने में आईटी नियमों के तहत अनुपालन ऑडिट करने के लिए एक तंत्र स्थापित किया है।

ऑडिट में, मंत्रालय यह देखेगा कि सोशल मीडिया कंपनियां उन्हें मिलने वाली शिकायतों के बारे में ठीक तरह से जानकारी दे रही हैं या नहीं और क्या उनकी कार्रवाई निर्धारित नियमों के अनुरूप है।



सरकार ने सोशल मीडिया मंचों के लिए एक अपीलीय समिति स्थापित करने का प्रस्ताव दिया है, जो किसी भी शिकायत के संबंध में सोशल मीडिया कंपनियों द्वारा लिए गए निर्णयों को पलटने में सक्षम होगी।


 

डेटा संरक्षण विधेयक वापस लेने के सरकार के कदम की आईटी उद्योग ने सराहना की

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सूचना प्रौद्योगिकी उद्योग ने ‘डेटा संरक्षण विधेयक, 2021’ को वापस लेने के सरकार के कदम की सराहना की है और नए मसौदे पर सलाह-मशविरे की प्रक्रिया में भागीदारी करने की इच्छा जताई है।



निजी डेटा संरक्षण विधेयक पर संयुक्त समिति ने संसद में जो डेटा संरक्षण विधेयक पेश किया था, उसकी उद्योग ने आलोचना की थी।



इस विधेयक को 11 दिसंबर, 2019 को सदन में पेश किया गया था। इसके बाद इसे दोनों सदनों की संयुक्त समिति को भेज दिया गया था। समिति की रिपोर्ट 16 दिसंबर, 2021 को लोकसभा में पेश की गई थी।

इसमें कुछ बिंदू उस मसौदा विधेयक से भिन्न थे जिसे इलेक्ट्रॉनिक्स एवं सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय ने तैयार किया था।



सरकार ने बुधवार को इस विधेयक को लोकसभा से वापस ले लिया और कहा कि वह ‘नए कानून’ लेकर आएगी जो व्यापक कानूनी ढांचे के अनुरूप होंगे।



गूगल, मेटा और अमेजन जैसी कंपनियों के अमेरिका स्थित संगठन आईटीआई ने भारत सरकार के विधेयक को वापस लेने के कदम की सराहना की।



आईटीआई के कंट्री मैनेजर (भारत) कुमार दीप ने कहा, ‘‘हमें विश्वास है कि जब रूपरेखा पर परामर्श शुरू होगा तो सरकार सभी विचारों पर गौर करेगी। हम इसमें शामिल होने के लिए उत्सुक हैं।’



आईटीआई उन वैश्विक उद्योग संगठनों में से एक है जिसने विधेयक के संयुक्त समिति वाले संस्करण का विरोध किया था।

करीब एक दर्जन उद्योग संगठनों ने सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री अश्विनी वैष्णव को पत्र लिखकर कहा था कि प्रस्तावित विधेयक को लागू करने का भारत के कारोबारी माहौल पर प्रतिकूल असर पड़ेगा और विदेशी निवेश भी कम हो जाएगा।

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