Varanasi Crime News: गोवा में महिला मित्र संग रेव पार्टी कर रहे वाराणसी के डॉक्टर गिरफ्तार, बाथरूम में बेहोशी की अवस्था में मिली गर्लफ्रैंड

Varanasi Crime News: Varanasi doctor arrested for having rave party with female friend in Goa, girlfriend found unconscious in bathroom

 

वाराणसी से गोवा गए कार्डियोलॉजिस्‍ट डॉ. अभिषेक विक्रम सिंह के खिलाफ गोवा पुलिस ने NDPS एक्ट में मामला दर्ज किया है। डॉ. अभिषेक और उनकी गर्लफ्रेंड पर ड्रग्स लेने का आरोप है। पणजी की कलंगट पुलिस मामले की जांच कर रही है।

 

 

पुलिस का कहना है कि दोनों पर कोकीन लेने का शक है। अभिषेक उत्तर प्रदेश के पूर्व मंत्री और अब समाजवादी पार्टी के नेता वीरेंद्र सिंह के बेटे हैं। पूर्व मंत्री ने बेटे को हिरासत में लिए जाने जैसी बात को नकारते हुए कहा है कि डॉ. अभिषेक पुलिस की जांच में सहयोग के लिए रुके हैं।

 

 

वेगेटर बीच पर कर रहे थे पार्टी

डॉ. अभिषेक विक्रम सिंह और दिल्ली की उनकी महिला मित्र सारा खान बीते शनिवार को गोवा पहुंचे थे। दोनों वहां से वेगेटर बीच घूमने निकले। मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, डॉ. अभिषेक और सारा ने वेगेटर बीच पर पार्टी के दौरान ड्रग्स लिया। इसके बाद सारा को डांस के दौरान बेचैनी और उल्टी होने लगी। फिर दोनों होटल चले गए।

रविवार की सुबह डॉ. अभिषेक की नींद खुली तो उन्होंने सारा को बाथरूम में बेहोश पाया। हृदय रोग विशेषज्ञ होने के नाते उन्होंने सारा को प्राथमिक उपचार देने का प्रयास किया। जब उन्हें सफलता नहीं मिली तो उन्होंने होटल स्टाफ से संपर्क किया। इसके बाद सारा को कैंडोलिम के प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र ले जाया गया।

वहां शुरुआती इलाज के बाद उन्हें पणजी के पास एक निजी अस्पताल में रेफर कर दिया गया। सारा फिलहाल वेंटिलेटर पर हैं, उनकी हालत में सुधार हो रहा है। इंस्पेक्टर दत्तगुरु सावंत ने कहा है कि हमने डॉ. अभिषेक, सारा और एक अज्ञात ड्रग पेडलर पर NDPS एक्ट के तहत मामला दर्ज किया है। हमें दोनों पर कोकीन लेने का शक है।

फॉर्मा कंपनी के बुलावे पर गए थे अभिषेक

पूर्व मंत्री और सपा नेता वीरेंद्र सिंह से 'दैनिक भास्कर' ने फोन पर उनके बेटे डॉ. अभिषेक के मसले पर बात की। उन्होंने बताया कि फॉर्मा कंपनी के बुलावे पर डॉ. अभिषेक सहित कई अन्य डॉक्टर और इस सेक्टर से जुड़े लोग गोवा गए हैं। वहां एक युवती की तबीयत खराब हुई तो वह डॉक्टर के धर्म का फर्ज निभाते हुए उसे हॉस्पिटल ले गए और भर्ती करा कर कागजात पर अपना नाम-पता दर्ज कराए।

पुलिस ने उनसे कहा था कि आपका नाम और पता दर्ज है तो युवती के होश में आने तक रुक जाएं। इस पर वह अपने होटल में ही रुके हुए थे। युवती को होश आया तो उसने पुलिस को बताया कि डॉ. अभिषेक ने उसकी मदद की है और उसे सही समय पर अस्पताल पहुंचाया। इससे अधिक किसी किस्म की कोई और बात नहीं है। बता दें कि डॉ. अभिषेक विक्रम सिंह का वाराणसी के अर्दली बाजार क्षेत्र में इनफिनिटी केयर हॉस्पिटल है।

बोले डाक्‍टर के परिजन

डाक्‍टर के पिता पूर्व मंत्री वीरेंद्र सिंह का कहना है कि मेडिकल उपकरण और दवा बनाने वाली कम्पनी ने गोवा में कॉन्फ्रेंस और दावत रखी थी। इसमें एम्स समेत कई अस्पतालों के डॉक्टर गए थे। हमारे अस्पताल से भी कई डॉक्टर इसमें गए थे। रात में पार्टी के दौरान एक लड़की बेहोश हो गई। कई डाक्टर उसे लेकर अस्पताल पहुंचे और भर्ती कराया गया।

भर्ती के दौरान उनके बेटे ने पहला ट्रीटमेंट देकर ही अस्पताल पहुंचाया। अस्पताल के मेमो में अपना नाम और पता लिखवा दिया था। अस्पताल की ओर से भेजे गए मेडिको लीगल में उस लड़की के साथ डाक्टर अभिषेक का नाम लिख दिया गया।

लड़की ने होश में आने पर सच्चाई बताई तो सबकुछ स्पष्ट हो गया। उसने बताया कि अभिषेक से उसका कोई लेना देना नहीं है। बेटे की गिरफ्तारी की बात मनगढ़ंत है। उसने अपने पेशे के दायित्व को निभाया।