उमेश पाल हत्याकांड में वकील ही निकला मास्टरमाइंड, हॉस्टल के कमरे में बनी थी हत्या की प्लानिंग

In the Umesh Pal murder case, the lawyer turned out to be the mastermind, the murder was planned in the hostel room

 

प्रयागराज में तीन दिन पूर्व हुए उमेश पाल खूनी हत्याकांड की प्लानिंग इलाहाबाद हाई कोर्ट के एक युवा वकील के कमरे में बनी थी। इस वकील को उत्तर प्रदेश पुलिस की स्पेशल टास्क फोर्स ने गिरफ्तार कर लिया है।

सूबे की सरकार में कोहराम मचा देने वाले इस दोहरे हत्याकांड में यूपी एसटीएफ ने जिन 12 लोगों को अपनी टाप-10 सूची में नामजद किया है, उनमें से गिरफ्तार किया जा चुका वकील भी एक है।बाकी 11 मोस्ट वॉन्टेड में से दो भाई जेल में बंद हैं।

इनमें एक यूपी का माफिया अतीक अहमद और दूसरा उसका भाई अशरफ है। अतीक अहमद अभी अहमदाबाद जेल में कैद है। जबकि उसका भाई और उमेश पाल हत्याकांड का मोस्ट वान्टेड अशरफ यूपी की बरेली सेंट्रल जेल में कैद है।

इन तमाम तथ्यों की पुष्टि यूपी पुलिस एसटीएफ प्रमुख और अपर पुलिस महानिदेशक, आईपीएस अमिताभ यश ने सोमवार दोपहर बाद विशेष बातचीत में की।

अमिताभ यश के मुताबिक, प्रयागराज में अंजाम दिए गए उमेश पाल दोहरे हत्याकांड के मुख्य आरोपियों में से एक षड्यंत्रकारी को गिरफ्तार किया गया है। इसे गोरखपुर से पकड़ा गया है। गिरफ्तार षड्यंत्रकारी का नाम सदाकत (25) है। सदाकत पेशे से इलाहाबाद हाई कोर्ट का वकील है। उससे पूछताछ में पता चला है कि हाई कोर्ट में वकालत की प्रैक्टिस से ज्यादा उसका अपराधियों के साथ उठना बैठना था।

 

 

उमेश पाल हत्याकांड की योजना को अंतिम रूप दिए जाने के दूसरे दौर की तमाम अहम बैठकें इसी सदाकत के कमरे पर हुई थीं। यह कमरा सदाकत ने प्रयागराज स्थित मुस्लिम हास्टल में ले रखा था।

एक सवाल के जवाब में यूपी पुलिस एसटीएफ चीफ ने आगे कहा, मुख्य रूप से अब तक प्रयागराज के डबल मर्डर (उमेश पाल हत्याकांड) कांड में अहमदाबाद जेल में बंद माफिया अतीक अहमद और बरेली सेंट्रल जेल में बंद उसके भाई अशरफ का ही हाथ सामने आ रहा है।

इस मामले में अभी बात अगर मुख्य गिरफ्तारी की करें तो हाई कोर्ट में वकालत करने वाला सदाकत ही पहला आरोपी है। भले ही इस डबल मर्डर की प्लानिंग क्यों न जेल में बनी हो। मगर उसके बाद उमेश पाल को कत्ल करने के अंतिम रूप दिए जाने वाली बैठकों में से अधिकांश बैठकें इसी सदाकत के प्रयागराज स्थित मुस्लिम हास्टल वाले कमरे में हुई थीं। इस बात को गिरफ्तारी के बाद खुद सदाकत ने ही कबूला है।

इलाहाबाद हाई कोर्ट का वकील होने के बाद सदाकत आखिर अतीक अहमद से अपराधियों के संपर्क में क्यों और कैसे पहुंच गया?

पूछने पर अमिताभ यश ने कहा, दरअसल जो कुछ सदाकत ने बताया है उसके मुताबिक तो, इस गैंग ने सदाकत को लालच दिया था कि इलाके में विवादित जमीनों के सौदे और उनसे जुड़े तमाम कानूनी मामले सदाकत के ही हवाले किए जाएंगे। लिहाजा उसने अतीक गैंग के उन शूटर्स की बैठकें अपने हास्टल वाले कमरे पर करानी शुरू कर दीं।

अभी सदाकत से और भी पूछताछ जारी है। इहाबाद हाई कोर्ट का यह गिरफ्तार वकील सदाकत कैसे उमेश पाल डबल मर्डर से लिंक हो सकेगा? पूछने पर यूपी एसटीएफ प्रमुख ने कहा, घटनास्थल पर वीडियो सीसीटीवी फुटेज में एक शूटर दुकान के अंदर से गोलियां झोंकता हुआ नजर आ रहा है।

उसका नाम गुलाम है। उस गुलाम और इस गिरफ्तार वकील सदाकत की कई बैठकें, प्रयागराज स्थित मुसलिम हास्टल वाले उस कमरे में हुई थीं जहां, सदाकत रहता था।

इस बात को सदाकत ने ही कबूला है। उसने बताया है कि न केवल शूटर गुलाम बल्कि इस दोहरे हत्याकांड में शामिल और अभी तक वांछित (फरार) और भी कई अपराधी इसी कमरे पर षड्यंत्र का ताना-बाना बुनने के लिए इकट्ठे होते थे।

यूपी एसटीएफ की मानें तो इस मामले में इलाहाबाद हाई कोर्ट के इस वकील की यह पहली गिरफ्तारी है। इसके अलावा अभी 11 अन्य बदमाश भी पकड़े हैं। इन 11 में से फिलहाल दो भाई और इस डबल मर्डर के मुख्य षड्यंत्रकारी अतीक अहमद और उसका भाई अशरफ दो अलग-अलग जेल में बंद हैं। उनसे पूछताछ की कोशिशों में प्रयागराज जिला पुलिस की टीमें जुटी हैं।